Thursday, 27 October 2016

Indian Economy For Mains,2016 (Dhyeya IAS)

            Indian Economy For Mains,2016
                        Crash Course Day One
1.   Indian agriculture, is in a way, a victim of its own past success, especially the green revolution, how? Explain.
भारतीय कृषि एक रूप में अतीत की अपनी ही सफलता, विशेषकर हरित क्रांति  की शिकार है, कैसे? व्याख्या करें.
2.   “Most of the world's poor people earn their living from agriculture, so if we knew the economics of agriculture, we would know much of the economics of being poor.” Comment on this statement in the context of Indian economy.
“दुनिया के अधिकांश गरीब लोग कृषि से अपनी आजीविका चलाते हैं, इसीलिए अगर हम कृषि के अर्थशास्त्र को समझेंगे, तो हम बहुत हद तक गरीब होने के अर्थशास्त्र को भी समझ सकेंगे.” भारतीय अर्थव्यवस्था के सन्दर्भ में इस कथन पर टिप्पणी करें.
3.   Recent experiences indicate that public policies related to pulses are the biggest hurdle in attaining self-sufficiency in the pulses sector. Consider this statement.
हाल के अनुभवों के आलोक में यह कहा जा सकता है कि भारत में दलहन से सम्बंधित सार्वजानिक नीति दलहन-आत्मनिर्भरता के रास्ते में सबसे बड़ी बाधा है. इस कथन पर विचार करें.
4.   Highlighting the major recommendation of Arvind Subramanian panel, discuss how far it is able to solve the problems of Indian agriculture sector?
अरविन्द सुब्रमण्यम पैनल की रिपोर्ट की प्रमुख अनुशंसाओं का उल्लेख करते हुए बतलाइए कि यह कहाँ तक भारतीय कृषि क्षेत्र की समस्याओं को दूर करने में समर्थ है?
5.   Agriculture market reform isn’t just about delisting commodities. Dismantling APMC monopoly is an essential, but it also is not sufficient condition for real reform. Do you agree?
कृषि-बाज़ार सुधार का मतलब केवल शामिल मदों की डीलिस्टिंगग नहीं है. कृषि-उत्पादन बाज़ार समिति के एकाधिकार को भंग किया जाना अनिवार्य है, पर वास्तविक सुधारों के लिए यह भी पर्याप्त नहीं है. आप इस कथन से कहाँ तक सहमत हैं?

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